राजेश खोईवाल

बुंदी (मातृभूमि न्यूज)। राजस्थान के न्यायिक कर्मचारीयो के दिनांक 30 नवंबर 2022 से लगातार सामूहिक अवकाश पर रहने से प्रदेश की समस्त अदालतों में कोई कामकाज नहीं हो रहा है। बूंदी जिले की संघर्ष समिति के संयोजक श्री अरुण कुमार जायसवाल ने बताया कि पूरे राजस्थान के कर्मचारी आज  15वे दिन भी सामूहिक अवकाश पर है।

न्यायिक कर्मचारी सुभाष मेहरा की जली हुई लाश उसके पीठासीन अधिकारी कृष्ण स्वरूप चलाना एनडीपीएस न्यायाधीश जयपुर के घर पर संदेहास्पद मिलने  के संबंध में कर्मचारियों के आंदोलन करने के बाद जाकर 1 महीने बाद पुलिस द्वारा मुकदमा दर्ज किया गया है जोकि स्पष्ट करता है कि मामला एक न्यायिक अधिकारी से संबंधित है इसलिए उसे बचाने का प्रयास किया जा रहा है ऐसे में पुलिस प्रशासन द्वारा जांच कराए जाने से प्रकरण मे निष्पक्ष जांच होना संदेहास्पद है इसलिए जब तक मामले की सीबीआई जांच नहीं होती और मृतक के परिजनों को न्याय नहीं मिलता तब तक कर्मचारी सामूहिक अवकाश पर रहेंगे। दिनांक 13 दिसंबर 2022 को सभी जिले के जिलाध्यक्ष व प्रतिनिधि द्वारा जयपुर में एक मीटिंग आयोजित की गई जिसमें राजस्थान के सभी जिलाध्यक्ष ने अपनी मांगे पूरी नहीं होने तक सामूहिक अवकाश पर रहने हेतु सहमति दी। साफ पता चलता है कि प्रशासन द्वारा एक न्यायिक अधिकारी को बचाने की नियत से लापरवाही बरती जा रही है ऐसे में केवल एफ आई आर दर्ज करने के उपरांत पुलिस प्रशासन से निष्पक्ष जांच की कोई उम्मीद नहीं है इसलिए सुभाष मेहरा की मृत्यु में दर्ज f.i.r. मे सीबीआई जांच कराई जाए और अन्य मांग जब तक पूरी नहीं होती तब तक सामूहिक अवकाश जारी रहेगा और आवश्यकता होने पर आंदोलन को और उग्र किया जाएगा इसके लिए उच्च न्यायालय जयपुर का घेराव किया जा सकता है। यदि आज शाम तक कोई कार्यवाही नहीं होती है तो दिनांक 15 दिसंबर 2012 को 2022 को पूरे राजस्थान के कर्मचारी  उच्च न्यायालय जयपुर पर धरना देंगे कर्मचारी लगातार पिछले 5 दिनों से क्रमिक अनशन पर बैठे हैं  आज 14 दिसंबर 2022 को भी बूंदी जिले से शंभू दयालगौतम,  लोकेन्द्र तसीवाल, प्रमोद श्रृंगी, दिनेशकुमारसैनी, दिनेश कुमार दाधीच क्रमिक अनशन पर बैठे हैं और प्रशासन द्वारा मांगे नहीं मांगने तक इसी प्रकार लगातार अनशन जारी रहेगा।

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